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मंगलवार, 28 अगस्त 2018

याद प्यार की

कविता

दिल की बात तो दिल से हुआ करती है
मुलाकात और ख्वाब तो आते जाते रहते हैं

ना पा सकूँ ना भुला सकूँ
तू मेरी मज़बूरी सी है
तेरे बिना जी रहे है
और जी भी लेंगें
फिर भी तू ज़रूरी सी है।

मेरी हिचकी ने कहा मुझसे
किसी ने याद किया है
शायद तुम होंगे ये वहम पाल लिया

सोमवार, 20 अगस्त 2018

कविता

ऐ हवा जरा मंद-मंद लहरा
अभी जख्म ताजा है
ऐ फूल जरा कम महक
खुश्बू लेने वाला नासमझ है
ऐ संगीत जरा बेसुरी हो जा
वाहवाही के लिए कौन मोहताज है
ऐ सुबह की ओस टहर जा
तुझे देखने के लिए सपना तोड़ना पड़ता है.