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दिल की बाते
प्रेम ही जीवन का आधार हैं
मंगलवार, 4 दिसंबर 2018
तकदीर है तु मेरी
रूठा हुअी सी तू मेरी तकदीर क्यों है।
दूर है फिर भी इतना अजीज क्यों है।
माना कि तुझे पाना मेरे हालात नहीं।
पर तुझे भूल जाना इतना अजीब क्यों है।।
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